दोस्तों जीपीएस का इस्तेमाल आप करते ही होंगे, लेकिन यह जीपीएस क्या है क्या आप जानते हैं? मेरी नहीं जानते हैं तो आज आप सही जगह पर आए हैं आज के इस आर्टिकल में आपको जीपीएस सिस्टम से जुड़ी सारी जानकारी प्राप्त हो जाएगी हिंदी में।
दोस्तों आज के समय में जब भी हम कहीं अनजान जगह पर जाते हैं तो हमें उस जगह की लोकेशन जानने के लिए या नेविगेशन के लिए जीपीएस का इस्तेमाल करते हैं और आज ज्यादातर सभी डिवाइस में लोकेशन की जानकारी प्राप्त करने के लिए लोकेशन का फीचर भी दिया जाता है जिसमें आप गूगल मैप्स की मदद से लोकेशन ट्रेस कर सकते हैं।
अनुक्रमांक
- 1 GPS क्या है? कैसे काम करता है?
- 2 Read Also
- 3 फोन खो जाए या चोरी हो जाए तो क्या करें?
- 4 Edge Computing क्या है?
- 5 Supercomputer क्या है? इसकी विशेषताएँ प्रकार?
- 6 YouTube Creator Tips: स्मार्टफोन से बेहतर सेल्फी वीडियो कैसे रिकॉर्ड करें? Follow करें जरूरी टिप्स
- 7 जीपीएस का फुल फॉर्म क्या है?
- 8 जीपीएस क्या होता है? (What is GPS in Hindi)
- 9 जीपीएस का इतिहास History of GPS in Hindi
- 10 GPS कैसे काम करता है?
- 11 जीपीएस की बेसिक स्ट्रक्चर क्या है? Basic structure of GPS Segments in Hindi
- 12 Space Segment
- 13 Control Segment
- 14 User Segment
- 15 GPS का उपयोग Uses of GPS Details In Hindi
- 16 Final Conclusion
GPS क्या है? कैसे काम करता है?
आजा पृथ्वी पर किसी भी जगह पर चले जाए आप जीपीएस की मदद से अपने आप की लोकेशन को ट्रैक कर सकते हैं। तो आइए आज के इस आर्टिकल में जानते हैं कि जीपीएस क्या होता है (What Is GPS In Hindi), जीपीएस का फुल फॉर्म क्या है (GPS Full Form In Hindi), जीपीएस कैसे काम करता है, GPS के इतिहास के बारे में (History Of GPS), जीपीएस के बेसिक स्ट्रक्चर क्या होता है और जीपीएस का उपयोग क्या है इत्यादि जैसे टॉपिक के बारे में जानकारी दी है।
तो आइए जानते हैं जीपीएस क्या है? जीपीएस के बारे में जानकारी हिंदी में…
जीपीएस का फुल फॉर्म क्या है?
जीपीएस का फुल फॉर्म होता है ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम (Global Positioning System), ग्लोबल पोजीशन सिस्टम जीपीएस का उपयोग कोई भी इंसान फ्री में कर सकता है और इसका उपयोग नेविगेशन के लिए किया जाता है, तो आइए आगे आर्टिकल में जानते है की जीपीएस क्या होता है
जीपीएस क्या होता है? (What is GPS in Hindi)
ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम (GPS) एक स्पेस-आधारित स्टेलाइट नेविगेशन सिस्टम है, जो सभी मौसम की स्थिति में लोकेशन और समय की जानकारी प्रदान करता है। जीपीएस की मदद से हम कही किसी भी समय अपने डिवाइस की मदद से लोकेशन को ट्रैक कर सकते हैं। यह सिस्टम दुनिया भर के सैन्य, नागरिक और वाणिज्यिक उपयोगकर्ताओं को महत्वपूर्ण क्षमताएं प्रदान करती है।
ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम को यूनाइटेड स्टेट गवर्नमेंट द्वारा बनाया गया है और आज के दिनों में जीपीएस का उपयोग करनेवाला व्यक्ति freely इसका इस्तेमाल भी कर सकता है। जैसा कि आपको ऊपर बताया की, जीपीएस एक सैटेलाइट आधारित नेविगेशन सिस्टम है जो अमेरिकी रक्षा विभाग द्वारा कक्षा में स्थापित 24 सैटेलाइट के नेटवर्क से बना हुआ है।
जब जीपीएस को शुरुआत में लॉन्च किया गया था तब यह मूल रूप से इसे सैन्य के लिए बनाया था, लेकिन 1980 के दशक में, सरकार ने इसे आम नागरिक के उपयोग के लिए इस सिस्टम को उपलब्ध कराया। GPS किसी भी मौसम की स्थिति में, दुनिया में कहीं भी, 24 घंटे काम करता है। GPS का उपयोग करने के लिए आपको कोई फीस या सेटअप फीस देने की जरूरत नहीं है।
यहां तक आपने जाना कि जीपीएस क्या होता है (GPS Kya Hota Hai)। जीपीएस के बारे में बेसिक जानकारी जानने के बाद आइए आगे जानते हैं जीपीएस के इतिहास के बारे में…
जीपीएस का इतिहास History of GPS in Hindi
आइए अब जीपीएस के इतिहास के बारे में जानकारी जानते है…
रेथियॉन कंपनी ने जीपीएस में उपयोग की जाने वाली टेक्नोलॉजी का निर्माण किया जब United States Air Force ने एक सटीक मार्गदर्शन प्रणाली की आवश्यकता को स्वीकार किया।
बाद में 1960 में, रेथियॉन कंपनी के साथ काम करने वाले वैज्ञानिक डॉ. इवान गेटिंग ने अपना पद छोड़ दिया और ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम डेवलप करना शुरू कर दिया। जिसमे उन्होंने वैज्ञानिकों और एयरोस्पेस इंजीनियरों के एक ग्रुप के साथ मिलकर three-dimensional जीपीएस के कॉन्सेप्ट को डेवलप करने लगे थे।
बाद में 1957 में, U.S.S.R ने अपना पहला उपग्रह, ‘स्पुतनिक’ लॉन्च किया। अमेरिकी वैज्ञानिकों ने स्पुतनिक का ऑब्जर्व करना शुरू किया। जिसमे उन्हें पता लगा की Doppler Effect का उपयोग करके सेटेलाइट की कक्षा को उसकी रेडियो फ्रीक्वेंसी में होने वाले परिवर्तनों को सुनकर पता लगाया जा सकता है।
इसके बाद 1960 में, स्पुतनिक पर नज़र रखने से प्राप्त जानकारी और ज्ञान का उपयोग करते हुए, अमेरिकी नौसेना ने TRANSIT लॉन्च किया, जो नौसेना के बैलिस्टिक मिसाइल पनडुब्बियों के बेड़े का मार्गदर्शन करने की प्रोसेस में सहायता करने वाला पहला उपग्रह नेविगेशन सिस्टम था।
बाद में 1967 में, यू.एस. नेवी द्वारा टाइमेशन तकनीक डेवलप की गई। इस सिस्टम ने सेटेलाइट में अत्यधिक सुसंगत, समकालिक घड़ी का उपयोग किया, एक ऐसी तकनीक जिस पर GPS निर्भर है। विकास धीरे-धीरे हुआ और यू.एस. सेना को 1978 के अंत तक पहले चार जीपीएस सेटेलाइट को लॉन्च करने का श्रेय दिया गया था।
जीपीएस तकनीक केवल यू.एस. सेना के लिए बनाया गया था। जिसे बाद में आम नागरिक के लिए उपलब्ध कराया गया था। पहला आधुनिक सेटेलाइट 14 फरवरी 1989 को लॉन्च किया गया था और global positioning system 17 जुलाई 1995 तक पूरी तरह से लॉन्च हो गई थी।
GPS कैसे काम करता है?
ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम (जीपीएस) 32 सैटेलाइट का एक ग्रुप है जो पृथ्वी से 26,600 किमी की ऊंचाई पर परिक्रमा करता है। सैटेलाइट का स्वामित्व अमेरिकी रक्षा विभाग के पास है, लेकिन कोई भी उन सेटेलाइट के सिग्नल का उपयोग कर सकता है, बशर्ते उनके पास एक रिसीवर होना चाहिए।
यह सभी सेटेलाइट पृथ्वी के आसपास चक्कर लगाते है। जीपीएस ट्रिलेटरेशन (trilateration) नाम की टेक्नोलॉजी पर काम करता है। जिसमे लोकेशन, वेग (velocity) और ऊंचाई (elevation) को क्लैकुलेट करने के लिए सेटेलाइट से सिग्नल को कलेक्ट करता है।
जब हम अपने डिवाइस में कोई लोकेशन सर्च करते है तो सबसे पहले सेटेलाइट सिग्नल को पृथ्वी पर भेजते है और यह सिग्नल हमारे जीपीएस रिसीवर से प्राप्त होते है। जब यह सिग्नल हमारे रिसीवर से मिलता है तो यह सिग्नल को दूसरी और समय को मापता है। इन सभी जानकारी को कैलकुलेट करने के बाद वेरिफाई करने के बाद आपके सामने जानकारी प्रदान की जाती है। तो इस प्रकार से जीपीएस काम करता है।
जीपीएस की बेसिक स्ट्रक्चर क्या है? Basic structure of GPS Segments in Hindi
Space Segment
GPS स्पेस सेगमेंट में उपग्रहों का एक समूह होता है जो उपयोगकर्ताओं को रेडियो सिग्नल भेजता है।
Control Segment
जीपीएस Control Segment में ग्राउंड फैसिलिटी का एक ग्लोबल नेटवर्क होता है जो जीपीएस सेटेलाइट को ट्रैक करता है, उनके ट्रांसमिशन की निगरानी करता है, एनालिसिस करता है, और कमांड को आदेश और डेटा भेजता है।
User Segment
जीपीएस में User Segment सेटेलाइट द्वारा भेजी गई सिग्नल को रिसीव करता है। इसको हम GPS Receiver के नाम से भी जानते है।
GPS का उपयोग Uses of GPS Details In Hindi
जीपीएस ट्रैकिंग का उपयोग कई सारी जगह पर किया जाता हैं। यह एक बहुत पावरफुल डिवाइस तकनीक है जिसका उपयोग कई व्यवसाय और उद्योग में किया जाता है। जीपीएस का इस्तेमाल सबसे अधिक पुलिस डिपार्टमेंट, परवहन, Mining और ट्रांसपोर्टेशन में किया जाता है।
- Location: पोजीशन को पहचानने के लिए
- Navigation: एक लोकेशन से दूसरी लोकेशन तक जाने के लिए
- Tracking: अपनी पर्सनल हलचल को मॉनिटर करने के लिए
- Mapping: Maps बनाने के लिए
- Timing: किसी जगह पर जाने के लिए कितना समय लगेगा यह मापने के लिए
Final Conclusion
दोस्तों आज के इस आर्टिकल में हमने आपको जीपीएस जाने की ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम (Global Positioning System) के बारे में बताया। जिसमें आपने जाना कि जीपीएस क्या है (What Is GPS In Hindi?), जीपीएस का फुल फॉर्म क्या है (GPS Full Form In Hindi), जीपीएस के इतिहास के बारे में, जीपीएस के उपयोग के बारे में, जीपीएस कैसे काम करता है और जीपीएस से जुड़ी अन्य जानकारी हिंदी में जानी।
इस आर्टिकल को पढ़ने के बाद मुझे उम्मीद है कि आप को जीपीएस जाने की ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम से जुड़े काफी सारे सवालों के जवाब मिल चुके होंगे। फिर भी आपको जीपीएस से जुड़े कोई सवाल है या कोई जानकारी शामिल करवाना चाहते हैं तो आप नीचे कमेंट बॉक्स में जरूर बताएं।